अमलाई OCM हादसा: 48 दिन बाद SECL और RKTC के छह अधिकारियों पर केस, लापरवाही पर उठ रहे सवाल

शहडोल। मध्य प्रदेश के शहडोल जिले में SECL सोहागपुर क्षेत्र के अमलाई OCM की बंद पड़ी खदान में 11 अक्टूबर को हुए हादसे के बाद 48 दिन बीत जाने पर पुलिस ने SECL और RKTC कंपनी के छह अधिकारियों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। टीपर ऑपरेटर अनिल कुशवाहा हादसे के बाद से अब तक लापता हैं और खदान में दबी डोजर मशीन तथा टीपर ट्रक भी बरामद नहीं हो सके हैं।
हादसे के दिन खदान में पानी भरने से अनिल कुशवाहा और दोनों वाहन गहरे गड्ढे में समा गए थे। दुर्घटना के बाद NDRF, SDRF, सेना और स्थानीय एजेंसियों ने कई दिनों तक खोज अभियान चलाया, लेकिन पानी की गहराई और कीचड़ के कारण कोई सफलता नहीं मिली। करीब एक माह पहले सभी एजेंसियों ने औपचारिक रूप से रेस्क्यू ऑपरेशन समाप्त कर दिया था। इसके बावजूद आज तक अनिल कुशवाहा का पता नहीं चला है और परिवार न्याय की उम्मीद में भटक रहा है।
धनपुरी पुलिस ने सुरक्षा मानकों की अनदेखी और जीवन के अधिकार के उल्लंघन के आरोपों के तहत SECL के माइनिंग सरदार अयोध्या पटेल, वरिष्ठ अधिकारी नीलकमल रजक, पैन इंजीनियर प्रभाकर सिंह, सुपरवाइजर मुनीश यादव और RKTC के सुपरवाइजर संजय सिंह सहित एक अन्य अधिकारी के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
स्थानीय मजदूर संगठनों और क्षेत्रवासियों का आरोप है कि जिन प्रभावशाली अधिकारियों पर सबसे बड़ी जिम्मेदारी थी, उनके खिलाफ कोई मुकदमा दर्ज नहीं किया गया है। इससे सवाल उठ रहे हैं कि क्या कार्रवाई में देरी हुई है और क्या लापरवाही के लिए जिम्मेदार बड़े अधिकारी कार्रवाई से बचाए जा रहे हैं।
48 दिन बाद भी हादसे की जिम्मेदारी तय न होना और लापता मजदूर का न मिलना, स्थानीय लोगों में आक्रोश का कारण बना हुआ है।



