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31 मई 2025 का पंचांग: पंचमी तिथि पर बन रहा है पुष्य नक्षत्र, जानें शुभ मुहूर्त और राहुकाल

आज ज्येष्ठ मास की शुक्ल पक्ष पंचमी तिथि है, जिसे माता ललिता त्रिपुर सुंदरी का दिन माना जाता है। यह तिथि सभी शुभ कार्यों, विशेषकर धार्मिक अनुष्ठान, उद्योग की शुरुआत, और यात्रा के लिए अत्यंत फलदायक मानी जाती है।
दिन विशेष जानकारी
- दिन: शनिवार
- तिथि: शुक्ल पक्ष पंचमी
- मास: ज्येष्ठ
- पक्ष: शुक्ल
- विक्रम संवत: 2081
- सूर्य राशि: वृषभ
- चंद्र राशि: कर्क
नक्षत्र, योग और करण
- नक्षत्र: पुष्य (सुबह 3:20 से शाम 16:40 तक)
- नक्षत्र स्वामी: शनि
- नक्षत्र देवता: बृहस्पति
- योग: व्रुद्धी
- करण: बव
सूर्य-चंद्र से संबंधित समय
- सूर्योदय: सुबह 05:53 बजे
- सूर्यास्त: शाम 07:20 बजे
- चंद्रोदय: सुबह 09:23 बजे
- चंद्रास्त: रात 11:33 बजे
अशुभ समय (वर्जित काल)
- राहुकाल: 09:15 AM से 10:56 AM
- यमगंड काल: 14:17 PM से 15:58 PM
- दुरमूहूर्त, गुलिक काल व वर्ज्यम्: आवश्यक कार्य से पहले पंचांग विशेषज्ञ से परामर्श लें।
पुष्य नक्षत्र का महत्व
आज चंद्रमा कर्क राशि में रहेंगे और पुष्य नक्षत्र का प्रभाव दिनभर रहेगा। यह नक्षत्र सभी शुभ कार्यों के लिए आदर्श माना जाता है, विशेषकर:
- नया उद्योग शुरू करने
- चिकित्सा उपचार आरंभ करने
- ललित कलाओं में रुचि बढ़ाने
- सज्जा, शिक्षा और आध्यात्मिक क्रियाएं प्रारंभ करने
- खरीदारी व निवेश
आज का सार
31 मई 2025 पंचांग के अनुसार, आज का दिन शुभ कार्यों, उद्योग, और आध्यात्मिक गतिविधियों के लिए उत्तम है। राहुकाल और यमगंड काल में कोई भी नया कार्य टालना श्रेष्ठ रहेगा।