8th Pay Commission : 8वां वेतन आयोग लागू होने के बाद कितनी बढ़ेगी सैलरी, जानिए पूरा कैलकुलेशन

केंद्रीय कर्मचारियों के लिए बड़ी राहत की खबर
नई दिल्ली। केंद्र सरकार के लाखों कर्मचारियों और पेंशनधारकों के लिए लंबे समय से जिस फैसले का इंतज़ार था, वह अब सच के करीब है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मंगलवार को (8th Pay Commission) के कार्यक्षेत्र को औपचारिक मंजूरी दे दी है। इस नए आयोग का मकसद कर्मचारियों के वेतन ढांचे, भत्तों और सेवा शर्तों की समीक्षा कर उन्हें मौजूदा आर्थिक हालात के अनुरूप अपडेट करना है।
8th Pay Commission: 2028 तक लागू होने की संभावना
जानकारी के मुताबिक, इस आयोग की रिपोर्ट तैयार होने और सरकार के अनुमोदन के बाद इसका प्रभाव वर्ष 2028 तक दिखाई दे सकता है। विशेषज्ञों का मानना है कि यह आयोग कर्मचारियों की बेसिक सैलरी में बढ़ोतरी के साथ-साथ उनके महंगाई भत्ते (Dearness Allowance) को नए सिरे से तय करेगा। हालांकि, सबसे अहम बात यह है कि नए आयोग में “फिटमेंट फैक्टर” (Fitment Factor) क्या रहेगा — क्योंकि इसी पर पूरे वेतन वृद्धि का आधार तय होता है।
फिटमेंट फैक्टर तय करेगा असली इजाफा
सातवें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.57 रखा गया था, जबकि विशेषज्ञों का अनुमान है कि (8th Pay Commission Fitment Factor) को थोड़ा घटाकर 2.46 किया जा सकता है। इसका मतलब यह है कि कर्मचारियों की बेसिक सैलरी को 2.46 से गुणा किया जाएगा और उसके आधार पर नया वेतन तय होगा।
ध्यान देने योग्य बात यह भी है कि हर नए आयोग के लागू होते ही डीए (DA) को रीसेट कर दिया जाता है, यानी यह फिर से “0%” से शुरू होता है। ऐसा इसलिए क्योंकि नई बेसिक सैलरी में पहले से ही महंगाई का असर शामिल होता है।
DA मर्जर से वेतन में कैसे होगा बदलाव
इस समय केंद्रीय कर्मचारियों का डीए 55% तक पहुंच चुका है। लेकिन जैसे ही (8th Pay Commission Implementation) लागू होगा, यह पूरा डीए हट जाएगा और नई सैलरी स्ट्रक्चर के हिसाब से गणना शुरू होगी। शुरुआत में कुछ लोगों को लगेगा कि कुल वेतन में मामूली कमी आई है, लेकिन वास्तविकता में नई बेसिक सैलरी अधिक होगी — जिससे आने वाले वर्षों में हर डीए वृद्धि का प्रभाव कई गुना ज्यादा महसूस होगा।
कैलकुलेशन से समझिए वेतन में कितना उछाल आएगा
मान लीजिए, कोई कर्मचारी लेवल-5 पर कार्यरत है और 7वें वेतन आयोग के तहत उसकी सैलरी संरचना कुछ इस प्रकार है –
- मूल वेतन: ₹29,200
- महंगाई भत्ता (55%): ₹16,060
- मकान किराया भत्ता (27%): ₹7,884
➡ कुल वेतन: ₹53,144
अब अगर (8th Pay Commission Salary Calculator) के अनुसार फिटमेंट फैक्टर 2.46 लागू किया जाए तो —
- नया मूल वेतन = ₹29,200 × 2.46 = ₹71,832
- डीए = 0% (रीसेट के बाद)
- मकान किराया भत्ता (27%) = ₹19,394
➡ कुल वेतन = ₹91,226
यानी कुल मिलाकर करीब 71% तक की बढ़ोतरी देखने को मिलेगी।
कर्मचारियों और पेंशनभोगियों में उम्मीद की लहर
सरकारी दफ्तरों से लेकर मंत्रालयों तक अब इस घोषणा को लेकर चर्चा तेज हो गई है। कर्मचारियों को भरोसा है कि (8th Pay Commission Notification) के लागू होते ही उनकी वास्तविक आय में सुधार होगा, जिससे महंगाई के असर को कुछ हद तक संतुलित किया जा सकेगा। वहीं पेंशनभोगियों के लिए भी नए आयोग की सिफारिशें राहत लेकर आएंगी, क्योंकि पेंशन की गणना भी संशोधित बेसिक पे के आधार पर होगी।
सरकार का लक्ष्य – समानता और पारदर्शिता वाला वेतन ढांचा
केंद्र का उद्देश्य है कि नया वेतन आयोग ऐसा मॉडल तैयार करे जो आने वाले वर्षों में कर्मचारियों की आय को स्थिरता और संतुलन प्रदान कर सके। वित्त मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार, इस बार आयोग कर्मचारियों की जीवन-यापन लागत, मुद्रास्फीति दर और राजकोषीय संतुलन जैसे पहलुओं को भी ध्यान में रखेगा।



