सूबेदार उप निरीक्षक भर्ती कमेटी से हाई कोर्ट ने तत्काल मांगा जवाब

बिलासपुर। सूबेदार उप निरीक्षक भर्ती परीक्षा में इस बार अपनी तरह का गंभीर मामला सामने आया है। याचिकाकर्ता ने पुलिस अफसरों पर शारीरिक दक्षता परीक्षा शीट में दबावपूर्वक हस्ताक्षर कराने और परीक्षा में फेल करने का आरोप अपनी याचिका में लगाया है। याचिकाकर्ता का कहना है कि भर्ती प्रक्रिया में शामिल अफसरों ने अपने चहेते को नौकरी देने के लिए उसे फेल कर दिया है। रिट याचिका की सुनवाई के बाद कोर्ट ने इसे गंभीरता से लिया है। कोर्ट ने भर्ती समिति को नोटिस जारी कर रिट याचिका में लगाए गए आरोप के संबंध में तत्काल जवाब पेश करने का निर्देश जारी किया है।
फिजीकल टेस्ट शीट में छेड़छाड़ का गंभीर आरोप (अभ्यर्थी को पुलिस अधिकारियों द्वारा दबावपूर्वक शीट में साईन कराने का आरोप ) मितेश कुमार ने अधिवक्ता अभिषेक पांडेय व दुर्गा मेहर के जरिए छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट में रिट याचिका दायर की है। दायर याचिका में कहा है कि वर्ष 2021 में पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) रायपुर द्वारा पुलिस विभाग में सूबेदार उप निरीक्षक के रिक्त पदों पर भर्ती हेतु विज्ञापन जारी किया गया। उक्त भर्ती परीक्षा में शामिल उम्मीदवार मितेश कुमार 20 जुलाई 2023 को शारीरिक परीक्षा में स्वामी विवेकानंद स्टेडियम, रायपुर में शामिल हुआ।
शारीरिक परीक्षा के बाद लंबी कूद में 12 अंक एवं अन्य सभी इवेन्टस में 300 अंकों में से 96 अंक प्राप्त कर शारीरिक दक्षता परीक्षा पास की। नौ दिन बाद उसे मोबाइल काल कर बुलाकर शारीरिक दक्षता परीक्षा शीट पर दबावपूर्वक हस्ताक्षर कर लिया। मामले की सुनवाई जस्टिस अरविंद सिंह चंदेल के सिंगल बेंच में हुई। याचिकाकर्ता की ओर से पैरवी करते हुए अधिवक्ता अभिषेक पांडेय ने कहा कि 20 जुलाई को स्वामी विवेकानंद स्टेडियम, रायपुर में याचिकाकर्ता के शारीरिक दक्षता परीक्षा के बाद तैयार की गई शीट पर उसके 1500 मीटर, 100 मीटर दौड़, गोला फेंक, ऊंची कूद, लंबी कूद इन पांच इवेन्ट में 300 में 96 अंक देकर फिजीकल शीट पर याचिकाकर्ता के हस्ताक्षर लेकर उसे उत्तीर्ण घोषित कर दिया गया।
इसके बाद 28 जुलाई को याचिकाकर्ता के मोबाइल नंबर – 8103946133 पर पुलिस मुख्यालय के एक अधिकारी द्वारा मोबाइल नंबर – 7000420108 से काल करके यह कहा गया कि आपसे एक महत्वपूर्ण काम है आप 29 जुलाई को स्वामी विवेकानंद स्टेडियम पहुंचे । याचिकाकर्ता 29 जुलाई 2023 को स्वामी विवेकानंद स्टेडियम, रायपुर में उपस्थित हुआ। स्टेडियम में कुछ पुलिस अधिकारियों द्वारा याचिकाकर्ता को एक टेंट में ले जाकर याचिकाकर्ता की फिजीकल टेस्ट की शीट में छेड़छाड़ कर 12 अंक को काटकर जीरो कर दिया व याचिकाकर्ता को फिजीकल टेस्ट में फेल घोषित करते हुए दबावपूर्वक शीट पर हस्ताक्षर ले लिए।
अधिवक्ता पांडेय ने कोर्ट को बताया कि याचिकाकर्ता द्वारा पुलिस अधिकारियों के दबाव में आकर अपनी फिजीकल शीट पर हस्ताक्षर किया गया उसके साथ ही याचिकाकर्ता द्वारा फिजीकल शीट पर 29 जुलाई 2023 की तिथी अंकित कर दी गई। जब 20 जुलाई 2023 को उसे 96 अंक देकर फिजीकल टेस्ट में उत्तीर्ण घोषित कर दिया गया उसके पश्चात् बिना कोई लिखित नोटिस जारी किये याचिकाकर्ता को मोबाइल फोन पर काल कर बुलाना एवं नौ दिन के बाद दबावपूर्वक याचिकाकर्ता से फिजीकल टेस्ट शीट पर हस्ताक्षर कराना नियम विपरीत है। छत्तीसगढ़ पुलिस कार्यपालिक (अराजपत्रित) सेवा भर्ती नियम -2021 में भी इसका उल्लेख नहीं है। मामले की सुनवाई के बाद कोर्ट ने सब-इन्सपेक्टर भर्ती कमेटी को तत्काल जवाब प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है।



